एक बार की बात है, एक बड़े और समृद्ध राज्य में एक बुद्धिमान राजा राज करता था। राजा के चार बेटे थे। राजा चाहता था कि उसके चारों बेटे न केवल बुद्धिमान बनें, बल्कि अपने जीवन में सही मूल्य और गुण भी सीखें।
एक दिन राजा ने अपने चारों बेटों को बुलाया और कहा, “मैं तुम्हें एक कार्य देना चाहता हूँ। तुम सबको अलग-अलग मौसम में राज्य के सबसे पुराने आम के पेड़ को देखने जाना होगा। वापस आकर तुम अपने अनुभव मुझे बताओ।”
सबसे बड़े बेटे को सर्दी में पेड़ देखने भेजा गया। दूसरे बेटे को वसंत में, तीसरे को गर्मी में, और सबसे छोटे बेटे को बारिश के मौसम में।
चारों बेटों का अनुभव
सभी बेटों ने अलग-अलग मौसम में पेड़ को देखा और अपनी राय राजा को बताई:
सबसे बड़े बेटे ने कहा, “वह पेड़ तो बिल्कुल सूखा हुआ और निर्जीव दिखता है। उसमें कोई हरियाली नहीं है।”
दूसरे बेटे ने कहा, “नहीं, उसमें सुंदर फूल खिले हुए हैं। वह तो बहुत ही खूबसूरत दिखता है।”
तीसरे बेटे ने कहा, “मुझे तो वह पेड़ फलों से लदा हुआ दिखा। वह बहुत लाभकारी और अद्भुत है।”
सबसे छोटे बेटे ने कहा, “मुझे तो वह पेड़ बहुत हरा-भरा और ताजगी से भरा हुआ दिखा। वह तो जीवन से परिपूर्ण है।”